Saturday 2 March 2013

स्त्री :- पेन और प्रेयसी

मेरी पेन भूल गई है
नीला रंग
अब मैं नहीं बना सकता हूँ
एक स्पेस,
इंडिया गेट सा
कल्पना में भी नहीं
तुम्हारे लिए.

सोख चुकी है
नीला रंग
लहराती हुई
तुम्हारी ही सफ़ेद सेनेटरी नेपकिन
उन विज्ञापनों में
जिनमे मुझे दिखाया गया
कि बहुत सहज हो गए हैं
तुम्हारे पीरियड के दिन
तुम्हारे लिए,
अब तुम घूम सकती हो
निर्भीक,
अब तुम्हारा शरमाना
हो गया है ख़त्म
ऑफिस में बैठते हुए
या तुम कर सकती हो
किसी भी एम्.एन.सी को रिप्रेजेंट
मिनी स्कर्ट पहने हुए भी,
चाहे यह क्यों न हो
सफ़ेद-गुलाबी रंग का ही.

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